मुझे आदमी का सड़क पार करना
हमेशा अच्छा लगता है
क्योंकि इस तरह
एक उम्मीद - सी होती है
कि दुनिया जो इस तरफ है
शायद उससे कुछ बेहतर हो
सड़क के उस तरफ। -केदारनाथ सिंह
Wednesday, April 08, 2009
हंसते रहो..............
ऑरकुट के स्क्रैप बुक में टपके इस फोटू को देखिए, और हंसिए..
बिहार में रबड़ी बहुत फेमस है, दूध वाली नहीं। चीनी की होती है और उपर तिल चिपका होता है। पटना हार्डिंग पार्क में बस पकड़ते वक्त खरीदा करता था, मेरी मां उसे रेउड़ी कहा करती है।
5 comments:
राजनीति अब दुकान ही हो गई है।
बहुत बढिया !!
गिरीन्द्र कमाल कर दिए आप ...
पहले तो हलवाइयों को चुन कर भेजेंगे, फिर चाहेंगे कि संसद में साहित्य की बातें हों.
बिहार में रबड़ी बहुत फेमस है, दूध वाली नहीं। चीनी की होती है और उपर तिल चिपका होता है। पटना हार्डिंग पार्क में बस पकड़ते वक्त खरीदा करता था, मेरी मां उसे रेउड़ी कहा करती है।
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