अब कौन इस अंदाज में सुनाएगा... |
कलाम के साथ पंडित जी. |
जोशी कई बीमारियों से जूझ रहे थे और उन्हें किडनी से सम्बंधित बीमारियां भी थी। जोशी को 31 दिसम्बर को पुणे के सहयाद्री अस्पताल में भर्ती कराया गया था और उन्हें 25 दिनों तक गहन चिकित्सा कक्ष में जीवन रक्षक प्रणाली पर रखा गया। अतुल जोशी ने कहा, "शनिवार शाम को उनकी स्थिति और खराब हो गई। तमाम प्रयासों के बाद भी उनकी स्थिति खराब होती गई और सुबह 8.05 बजे उन्होंने अंतिम सांस ली। जोशी को वर्ष 2008 में देश के सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार भारत रत्न से सम्मानित किया गया था। वह किराना घराने से ताल्लुक रखते थे। वह खय्याल गायकी और भजन के लिए प्रसिद्ध थे।
पंडित जोशी का जन्म कर्नाटक के गडक जिले के एक छोटे से कस्बे में रहने वाले कन्नड़ परिवार में 4 फरवरी 1922 को हुआ था। उनके पिता गुरूराज जोशी एक स्कूल शिक्षक थे। 16 भाई बहनों में भीमसेन सबसे बड़े थे। जोशी की युवावस्था में उनकी मां का निधन हो गया था। जोशी का बड़ा पुत्र जयंत एक पेंटर है जबकि श्रीनिवास वोकलिस्ट और कंपोजर है। पंडित जी ने महज 19 साल की उम्र से ही गाना शुरू कर दिया था और लगभग सात दशकों तक शास्त्रीय गायन किया।
पंडित जोशी 1943 में मुंबई आ गए थे और उन्होंने एक रेडियो आर्टिस्ट के रूप में काम किया। म्यूजिक कंपनी एचएमवी ने 22 वर्ष की उम्र में हिन्दी और कन्नड़ भाषा में उनका पहला एलबम रिलीज किया था। जोशी को मुख्य रूप से खयाल शैली और भजन के लिए जाना जाता है। पंडित जोशी को वर्ष 1999 में पद्मविभूषण, 1985 में पद्मभूषण और 1972 में पद्म श्री से भी सम्मानित किया गया था। जोशी का 1985 में आया मशहूर "मिले सुर मेरा तुम्हारा" गाना आज भी देशवासियों की जुबां पर है। जोशी ने कई बॉलीवुड फिल्मों के लिए भी गाने गाए। 1956 में आई बसंत बहार में उन्होंने मन्ना डे के साथ, 1973 में बीरबल माई ब्रदर में पंडित जसराज के साथ गायन किया। उन्होंने 1958 में आई फिल्म तानसेन और अनकही (1985) के लिए भी गाने गाए।
जोशी जी को इस तरह याद करने के लिए शुक्रिया।
ReplyDeleteshrdhanjali!
ReplyDeletebahut aatmiyta se yad kiya aapne joshi ji ko...
ReplyDeletechithha charcha rupi highway sa ahank
ReplyDeletepagdandi tak pahuchloun......
divangat atma ke shradhangali.....
bahut nik.....
pranam.
chithha charcha rupi highway sa ahank
ReplyDeletepagdandi tak pahuchloun......
divangat atma ke shradhangali.....
bahut nik.....
pranam.